Home Bihar कंगना से पद्मश्री वापस लेने के लिए अड़ेगा माले: विधानसभा के मुख्यमंत्री कक्ष के सामने धरना देगी माले, जहरीली शराब कांड में मुआवजे की भी करेगी मांग

कंगना से पद्मश्री वापस लेने के लिए अड़ेगा माले: विधानसभा के मुख्यमंत्री कक्ष के सामने धरना देगी माले, जहरीली शराब कांड में मुआवजे की भी करेगी मांग

0
कंगना से पद्मश्री वापस लेने के लिए अड़ेगा माले: विधानसभा के मुख्यमंत्री कक्ष के सामने धरना देगी माले, जहरीली शराब कांड में मुआवजे की भी करेगी मांग

[ad_1]

पटना18 मिनट पहले

  • कॉपी लिंक
अभिनेत्री कंगना रनौत। - Dainik Bhaskar

अभिनेत्री कंगना रनौत।

भाकपा माले ने वीरचंद पटेल पथ पर कार्यालय के लिए सरकार से जगह मांगी थी। लेकिन अब तक जगह नहीं दी गई है। अभी विधान सभा में माले के 12 विधायक हैं। माले के विधायकों के विधायकों को सरकार ने आवास भी नहीं दिया है। माले के विधायकों ने अब यह तय किया है कि 29 नवंबर से शुरू होने वाले विधान मंडल के शीत कालीन सत्र में विधानसभा के मुख्यमंत्री कक्ष के समक्ष धरना देंगे। माले विधायक दल फिल्म अभिनेत्री कंगना रनौत से पद्मश्री अवार्ड वापस लेने का प्रस्ताव विधानसभा से पारित करने का भी मुद्दा उठाएगी।

इन सबों ने मिलकर बनाई रणनीति

यह फैसला विधानसभा के शीतकालीन सत्र को लेकर माले विधायक दल कार्यालय में विधायक दल की बैठक में लिया गया। बैठक में माले विधायक दल के प्रभारी राजाराम सिंह, विधायक दल के नेता महबूब आलम सहित सत्यदेव राम, अरूण सिंह, महानंद सिंह, रामबलि सिंह यादव, वीरेन्द्र प्रसाद गुप्ता, अमरजीत कुशवाहा, अजीत कुशवाहा, संदीप सौरभ, सुदामा प्रसाद, मनोज मंजिल आदि विधायक उपस्थित रहे। विधायक दल ने शीतकालीन सत्र में ज्वलंत सवालों पर सरकार को घेरने और इन मुद्दों पर विपक्षी दलों के बीच एकता बनाने का निर्णय लिया है।

जहरीली शराब से से 64 से ज्यादा लोग मारे गए, मुआवाजा की मांग होगी

बैठक में लिए गए बाकी फैसलों की जानकारी देते हुए माले विधायक दल के नेता महबूब आलम ने कहा कि शराबबंदी पर सरकार के ढोंग को हमने एक नंबर पर रखा है। जहरीली शराब ने विगत कुछ महीनों में 64 से अधिक लोगों की जिंदगी हमसे छीन ली। हमने बार-बार कहा है कि इसके पीछे राजनेताओं-प्रशासन व शराब माफियाओं का गठजोड़ है, इसलिए उसकी जांच कराई जाए। पुलिस की बेशर्मी यहां तक बढ़ गई है कि बिना महिला पुलिस के शादी के लिए तैयार हो रही दुल्हन के कमरे में छापामारी करके लोगों को परेशान व लज्जित कर रही है। दूसरी ओर, शराब माफियाओं को बचाया जा रहा है। हम एक बार फिर से राजनेता-प्रशासन-शराब माफियाओं के गठजोड़ की जांच की मांग करेंगे। जहरीली शराब से मारे गए लोगों के परिजनों को मुआवाजा का भी सवाल हमारा एक मुद्दा होगा।

प्रवासी मजदूरों के लिए कानून की मांग होगी, मुआवजा दे सरकार

उन्होंने कहा कि पलायन बिहार की एक सामान्य घटना बनी हुई है। जम्मू-कश्मीर से लेकर हर जगह बिहार के प्रवासी मजदूरों पर हमले हो रहे हैं। उत्तराखंड में भूस्वखलन से प्रवासी मजदूर मारे गए। प्रवासी मजदूरों के लिए कानून बनाने और मारे गए लोगों के परिजनों के लिए मुआवजा हमारा दूसरा प्रमुख मुद्दा होगा।

शिक्षा और रोजगार के सवाल पर घेरा जाएगा

बिहार में बदतर हालत में पहुंच चुकी शिक्षा व्यवस्था दिन-प्रतिदिन और लगातार नीचे गिरते जा रही है। कई विश्वविद्यालयों के कुलपतियों पर भ्रष्टाचार के संगीन आरोप लग रहे हैं। राजभवन भी इस घेरे में है। शिक्षक समुदाय से लेकर हर तबका रोजगार के लिए सड़क पर है, लेकिन सरकार पर कोई असर नहीं पड़ रहा है। शिक्षा व रोजगार के सवाल पर सरकार को जबरदस्त रूप से घेरा जाएगा।

बिहार में मंडी व्यवस्था लागू करने की मांग होगी

उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी द्वारा तीनों कृषि कानून वापस ले लिए गए हैं. लेकिन एमएसपी को कानूनी दर्जा देने व बिहार में मंडी व्यवस्था लागू करने, धान खरीद, खाद, गन्ना किसानों आदि के सवाल अभी शेष हैं. विधानसभा में हम इन सवालों पर सरकार से जवाब मांगने आ रहे हैं। रोसड़ा से लेकर राज्य के विभिन्न इलाकों में बढ़ती पुलिसिया कार्रवाई व अपराध आज के बिहार का सच है। तथाकथित सुशासन की सरकार आज पुलिस राज में तब्दील हो गई है। जब से ड्रैकोनियन पुलिस एक्ट आया है, पुलिस की तानाशाही और बढ़ गई है।

खबरें और भी हैं…

[ad_2]

Source link