11 लाख स्टूडेंट्स अब सोशल मीडिया पर करेंगे आंदोलन: 14 और 21 मार्च को 4 पालियों मे PT एग्जाम कराया लेकिन 6 माह बाद भी नहीं आया रिजल्ट, छात्रों की टेंशन बढ़ी

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पटनाएक घंटा पहले

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#Bihar_Police_Result_Do हैशटैग चलाएंगे बिहार के 11 लाख स्टूडेंट्स। (प्रतीकात्मक तस्वीर)

सिपाही भर्ती का परीक्षा परिणाम नहीं आने से लगभग 11 लाख स्टूडेंट्स की टेंशन बढ़ गई है। परीक्षा के 6 माह बाद भी रिजल्ट नहीं आने से नाराज कैंडीडेट्स अब सोशल मीडिया पर आंदोलन की तैयारी कर रहे हैं। शुक्रवार 8 अक्टूबर को ट्वीटर पर कैंडीडेट्स का आदोलन होगा। इसके लिए परीक्षा में शामिल होने वाले 11 लाख कैंडीडेट्स बड़े पैमाने पर हैश टैग की तैयारी कर रहे हैं। नाराज कैंडीडेट्स का कहना है कि 6 माह तक रिजल्ट नहीं आया और न ही देरी का कोई कारण बताया जा रहा है।

PT रिजल्ट का हो रहा है इंतजार

बिहार सिपाही भर्ती PT रिजल्ट के लिए 8 अक्टूबर को सोशल मीडिया के ट्वीटर पर आंदोलन की तैयारी करने वाले कैंडीडेट्स का कहना है कि बिहार पुलिस विभाग मे सिपाही के 8415 पदों पर बहाली के लिए 2021 में 14 मार्च और 21 मार्च को चार पालियों मे PT परीक्षा आयोजित हुई थी। लेकिन छह माह बाद भी इसका रिजल्ट प्रकाशित नही हुआ है। इस कारण छात्रों मे काफी आक्रोश है और छात्र अब ट्विटर पर आंदोलन करने जा रहे हैं।

11 लाख परीक्षार्थी की बड़ी परेशानी

प्रतियोगी परीक्षार्थियों के हक और अधिकार के लिए आंदोलन करने वाले राष्ट्रीय छात्र एकता मंच के अध्यक्ष छात्र नेता दिलीप कुमार का कहना है कि सिपाही भर्ती पीटी परीक्षा का रिजल्ट प्रकाशित नही होने से लगभग ग्यारह लाख परीक्षार्थी परेशान हैं। सिपाही भर्ती बोर्ड सीएसबीसी (CSBC) को एक नोटिस जारी करके बता देना चाहिए कि रिजल्ट कब तक प्रकाशित होगा लेकिन आयोग संवेदनशील नहीं है। इससे परीक्षा में शामिल होने वाले कैंडीडेट्स की टेंशन दिन प्रतिदिन बढ़ती जा रही है। लाखों स्टूडेंट्स मानसिक प्रताड़ना के शिकार हो रहे हैं।

रिजल्ट जारी कराने के लिए आंदोलन

दिलीप कुमार का कहना है कि सिपाही पीटी परीक्षा का रिजल्ट जल्द प्रकाशित करने की मांग को लेकर ही परीक्षार्थियों द्वारा 8 अक्टूबर को सुबह 10 बजे से ट्विटर पर आंदोलन किया जाएगा। इसके लिए ट्विटर पर #Bihar_Police_Result_Do हैशटैग चलाया जाएगा। दिलीप कुमार ने कहा कि छात्रों के हित को ध्यान मे रखते हुए जल्द रिजल्ट प्रकाशित कर दिया जाना चाहिए। अगर ऐसा नहीं किया जाता है तो लाखों परीक्षार्थियों की टेंशन उन्हें बीमार बना देगी।

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