यूएसएस अब्राहम लिंकन (CVN-72)
यूएसएस अब्राहम लिंकन (CVN-72), निमित्ज़-क्लास का परमाणु ऊर्जा से संचालित विमानवाहक पोत है, जो अमेरिकी नौसेना के संचालन की एक महत्वपूर्ण कड़ी है। 1989 में कमीशन किया गया यह पोत, दो A4W परमाणु रिएक्टरों से संचालित होता है, जो इसे बेजोड़ सहनशक्ति, दक्षता और परिचालन सीमा प्रदान करते हैं। इन रिएक्टरों की बदौलत यह जहाज लगभग 20 वर्षों तक बिना ईंधन भरे संचालन कर सकता है, जो इसे रणनीतिक रूप से बेहद उपयोगी बनाता है।
परमाणु प्रणोदन कैसे काम करता है
इस पोत का मुख्य प्रणोदन सिस्टम इसके परमाणु रिएक्टर हैं। A4W रिएक्टर समृद्ध यूरेनियम ईंधन का उपयोग करते हैं। रिएक्टर के अंदर, यूरेनियम परमाणु विखंडन (न्यूक्लियर फिशन) प्रक्रिया से गुजरते हैं, जो बड़ी मात्रा में ऊष्मा ऊर्जा उत्पन्न करता है। इस ऊष्मा से पानी को उच्च दबाव वाले भाप में परिवर्तित किया जाता है, जो जहाज के टर्बाइनों को चलाती है। ये टर्बाइन जहाज को गति प्रदान करने के साथ-साथ विद्युत उत्पादन भी करते हैं, जो जहाज के सभी ऑनबोर्ड सिस्टम को चलाने के लिए आवश्यक है।
प्रत्येक रिएक्टर लगभग 550 मेगावाट बिजली उत्पन्न करता है। यह न केवल जहाज की गति और प्रणालियों को चलाने के लिए पर्याप्त है, बल्कि इसमें 5,000 कर्मियों के रहने और काम करने के लिए सभी सुविधाएं भी शामिल हैं।
20 साल तक बिना ईंधन भरने की क्षमता
परमाणु ऊर्जा का सबसे बड़ा लाभ इसके ईंधन की ऊर्जा घनत्व है। एक छोटी मात्रा में यूरेनियम अत्यधिक ऊर्जा उत्पन्न कर सकता है, जो जहाज को दशकों तक संचालन में बनाए रखता है। यह क्षमता पारंपरिक जहाजों के ईंधन भरने की बार-बार आवश्यकता को समाप्त करती है।
इस क्षमता के मुख्य लाभ हैं:
- लंबी तैनाती: जहाज लगातार लंबे समय तक समुद्र में रह सकता है।
- स्वतंत्रता: जहाज ईंधन आपूर्ति शृंखला पर निर्भर नहीं होता, जिससे रणनीतिक लचीलापन बढ़ता है।
- कम परिचालन लागत: बार-बार ईंधन भरने की आवश्यकता समाप्त होने से लागत में कमी आती है।
मुख्य प्रणालियाँ जो परमाणु ऊर्जा से संचालित होती हैं
- विमान लॉन्च और रिकवरी: रिएक्टर से उत्पन्न भाप कैटापल्ट सिस्टम को चलाती है, जो विमानों को उड़ान भरने में मदद करता है, और अरेस्टिंग गियर को, जो विमानों को लैंडिंग में सहायक होता है।
- पानी का खारापन हटाना: जहाज में मौजूद सिस्टम समुद्री पानी को मीठे पानी में बदलते हैं, जिससे पीने और उपयोग के लिए लगातार पानी की आपूर्ति होती है।
- विद्युत प्रणालियाँ: रिएक्टर जहाज की नेविगेशन, संचार, रडार और हथियार प्रणालियों को चलाने के लिए बिजली उत्पन्न करते हैं।
रणनीतिक और परिचालन लाभ
जहाज की 20 वर्षों तक बिना ईंधन भरने की क्षमता इसे असाधारण बनाती है। यह जहाज बिना किसी बाहरी आपूर्ति के लंबी दूरी और समय तक संचालन कर सकता है। 30 नॉट (लगभग 35 मील प्रति घंटा) की गति के साथ यह तेज़ी से रणनीतिक स्थानों पर पहुँच सकता है।
इसका यह गुण इसे सैन्य संघर्षों, मानवीय संकटों और अन्य मिशनों के लिए त्वरित प्रतिक्रिया देने वाला एक महत्वपूर्ण संसाधन बनाता है। साथ ही, ईंधन आपूर्ति की निर्भरता कम होने से जहाज के जीवनकाल में कुल लागत भी कम होती है।
रीफ्यूलिंग और कॉम्प्लेक्स ओवरहाल (RCOH)
20 वर्षों के संचालन के बाद, जहाज एक रीफ्यूलिंग और कॉम्प्लेक्स ओवरहाल (RCOH) प्रक्रिया से गुजरता है। यह एक गहन रखरखाव प्रक्रिया है, जो लगभग 3-4 वर्षों तक चलती है। इस दौरान रिएक्टरों में नया यूरेनियम ईंधन भरा जाता है, और जहाज को आधुनिक तकनीकों, हथियार प्रणालियों और अन्य उन्नत सुविधाओं के साथ अपडेट किया जाता है।
RCOH प्रक्रिया जहाज के जीवनकाल को 20-25 वर्षों तक बढ़ा देती है, जिससे इसकी कुल सेवा अवधि 50 वर्षों या उससे अधिक तक पहुँच जाती है।